माउथवॉश के इस्तेमाल से बढ़ सकता है मधुमेह का खतरा

नाइट्रिक ऑक्साइड मेटाबोलिज्म को नियंत्रित रखने, ऊर्जा नियंत्रण एवं ब्लड शुगर का स्तर संतुलित रखने में महत्वपूर्ण होता है.
अनुसंधानकर्ताओं ने चेतावनी दी है कि नियमित रूप से माउथवॉश का इस्तेमाल करने वालों में मधुमेह का खतरा बढ़ सकता है.अमेरिका की हार्वर्ड यूनीवर्सिटी के अनुसंधानकर्ताओं ने यह पाया कि जीवाणु रोधी तरल पदार्थ से मुंह साफ करने से मुंह में रहने वाले तथा मोटापा एवं मधुमेह से सुरक्षा में मददगार जीवाणु नष्ट हो सकते हैं. अनुसंधानकर्ताओं में एक भारतीय मूल का अनुसंधानकर्ता भी शामिल है.उन्होंने पाया कि जो लोग दिन में दो बार माउथवॉश का इस्तेमाल करते हैं, उनमें मधुमेह या खतरनाक ब्लड शुगर का खतरा करीब 55 प्रतिशत बढऩे की संभावना रहती है.
हार्वर्ड स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ में प्रोफेसर कौमुदी जोशिपुरा ने बताया, माउथवॉश में अधिकतर जीवाणु रोधी घटक चयनीय नहीं हैं.द टेलीग्राफ ने कौमुदी के हवाले से लिखा, दूसरे शब्दों में वे मुंह के विशिष्ट जीवाणु को निशाना नहीं बनाते – इसके बजाय ये घटक व्यापक स्तर पर जीवाणु पर ही कार्रवाई कर सकते हैं.  यह अध्ययन नाइट्रिक ऑक्साइड पत्रिका में प्रकाशित हुआ है. अध्ययन में 40 और 65 के बीच की उम्र के ऐसे 1,206 मोटे व्यक्तियों को शामिल किया गया, जिनमें मधुमेह होने का खतरा अधिक होता है.
कौमुदी के अनुसार मुंह में रहने वाले ये मददगार जीवाणु मधुमेह एवं मोटापे से सुरक्षा कर सकते हैं. इनमें वैसे जीवाणु भी शामिल हैं जो शरीर के इंसुलिन स्तरों को नियंत्रित करने में सहायक नाइट्रिक ऑक्साइड का उत्पादन करने में मदद कर सकते हैं.नाइट्रिक ऑक्साइड मेटाबोलिज्म को नियंत्रित रखने, ऊर्जा नियंत्रण एवं ब्लड शुगर का स्तर संतुलित रखने में महत्वपूर्ण होता है.

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