वरिष्ठ पत्रकार एवं लेखक कुलदीप नैयर का 95 साल की उम्र में निधन

वरिष्ठ पत्रकार कुलदीप नैयर प्रेस की स्वतंत्रता और लोकतांत्रिक मूल्यों के लिए लड़ाई के लिए याद किये जाएंगे। उनके निधन से राष्ट्र को बड़ी हानि हुई है।

वरिष्ठ पत्रकार कुलदीप नैयर का निधन हो गया है। वह 95 साल के थे। कुलदीप नैयर बीते तीन दिनों से दिल्ली के एक अस्पताल के आईसीयू में भर्ती थे। काफी समय में से उनकी सेहत बहुत खराब थी। बुधवार की रात करीब साढ़े बारह बजे उन्होंने अंतिम सांस ली, वह राज्यसभा के मनोनीत सदस्य भी रह चुके हैं। कुलदीप नैयर का जन्म 14 अगस्त 1924 को सियालकोट (अब पाकिस्तान) में हुआ था। वो भारत के प्रसिद्ध लेखक एवं पत्रकार थे। कुलदीप नैयर ने भारत सरकार के प्रेस सूचना अधिकारी के पद पर कई वर्षों तक कार्य करने के बाद यूएनआई, पीआईबी, द स्टैट्समैन, इंडियन एक्सप्रेस के  साथ लंबे समय तक जुड़े रहे। दिल्ली के समाचार पत्र द स्टेट्समैन के संपादक भी रहे। कुलदीप नैयर 25 सालों तक द टाइम्स लंदन के संवाददाता भी रहे।एक उर्दू डेली से अपने करियर की शुरुआत करने वाले कुलदीप नैयर ने अपने जीवन में 14 भाषाओं के 80 अखबारों के लिए कॉलम लिखे. न्होंने अपना बीए फोरमैन क्रिश्चियन कॉलेज, लाहौर से और एलएलबी, लॉ कॉलेज, लाहौर से पूरी की थी।कुलदीप नैयर ने जर्नलिज्म की पढ़ाई मेडिल स्कूल ऑफ जर्नलिज्म, नॉर्थवेस्ट यूनिवर्सिटी से की थी।जिसके लिए उन्हें स्कॉलरशिप मिली हुई थी।कुलदीप नैयर ने अपनी जिंदगी में 15 किताबें भी लिखीं, जिनमें ‘बियांड द लाइंस’, ‘इंडिया : द क्रिटिकल इयर्स’, ‘स्कूप’, ‘द जजमेंट : इनसाइड स्टोरी ऑफ द इमरजेंसी इन इंडिया’ आदि प्रमुख हैं। गौरतलब है कि पत्रकारिता की दुनिया में कुलदीप नैयर पत्रकारिता अवार्ड भी दिया जाता है।23 नवम्बर, 2015 को वरिष्ठ पत्रकार एवं लेखक कुलदीप नैयर को पत्रकारिता में आजीवन उपलब्धि के लिए रामनाथ गोयनका स्मृ़ति पुरस्कार से सम्मानित किया गया।

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